हाथों में मेहंदी होगी माथे पर बिंदिया।
पायल होगी पाव में कलाई में वो चूड़िया ।
चाँद सा चेहरा होगा फूलो की वादियों में
भवरे गुना रहें होंगे खिल रही होगी कलिया।।
सज सवर के तुम अब सवरने लग जाहोगी।
बन के तुम दुल्हन साजन के घर आहोगी ।
हमारी याद संग होगी ये वो विदाई,
मेरी आँखों मे आंसू बन तुम छा होगी।।
कुछ दिन का था ये साथ हमारा तुम्हारा
हर पल खुश रहना ये आशीष है हमारा
इस जग की सारी खुशियों की दौलत मिलें,
आदाब रहें आपका वो परिवार सारा।।
मोहित
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